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Drisht Kavi and other Posts of 19 July 2022

One life to live
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माड़साब लोग्स कूँ छेड़ने से भोत पाप लगता है, भले ही माड़साब्स जुबा हो या सठियाये हो, कबि हो - कहानीकार या उपन्यासकार, अनुबादक, बादक या टीरेवलर या फेकबुकिया हो
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उन्होंने पूछा 'आपके घर सत्यनारायण की कथा है'
मैंने कहा 'हां जी इस माह की 30 तारीख को है'
उन्होंने कहा तो 'क्या शर्मा जी, पांडे जी, अवस्थी जी सभी आएंगे'
मैंने कहा 'शर्मा, वर्मा, पालीवाल, चौहान , मालवीय , हुजूर, कूजूर, गौर , जैन , अरोरा , माइकल , जॉर्ज, यूनुस,अफजल और शकील रहमान आदि भी सब आएंगे'
उन्होंने कहा 'क्या प्रसाद भी बंटेगा'
मैंने कहा 'जी, भोजन भी रखा है - जाते समय मेहमानों और आमंत्रितों को नगद दक्षिणा, धोती - कुर्ता और एक - एक तांबे का लोटा देने का भी प्रावधान है' और हाँ एक कविता पाठ का भी आयोजन है - ये सभी भरपूर कविताएँ पढ़ेंगे - सबको कम से कम तीन डायरी लेकर आने को कहा है और कोई जल्दी नही होगी, कोई रोकटोक नही होगी
उन्होंने फिर पूछा 'तो क्या पक्के में सतनारायण की कथा होगी'
मैंने कहा 'जी बिल्कुल होगी'
वह अपेक्षा से देख रहे थे कि मैं प्रसादी लेने के लिए बुला लूँ - पर मैं भी चालाक हूं उनकी मंशा समझता हूं ; मैंने टाल दिया - 'छोड़िए जी आजकल कहां समय है , और आप तो व्यस्त रहते है , हमें तो पक्के से कथा करना ही है और फिर अब करना है तो करना है, घर का भी एक बजट है उसे भी खत्म करना है'
चलिए मिलेंगे फिर कभी, - यह कर कर मैं उन्हें औचक सा छोड़कर लौट आया
लाईवा टाईप कुछ लोग जबरन ही झिलवाते है और यही तरीका है कि उन्हें निगलेक्ट किया जाये
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मित्रों मेरे नए कहानी सँग्रह का नाम Vineeta Parmar ने रखा है -
"समझ की पीठ में फफोले"
पेंग्युईन से अँग्रेजी और ऑक्सफ़ोर्ड से हिंदी में आ रहा है यह सँग्रह, एडवांस बुकिंग चालू है, अब रोज़ इसका प्रचार करूँगा
यह नई वाली हिंदी की पड़दादी यानि महाहिंदी का पहला सँग्रह होगा और इससे कहानी को नई नवीं दिशा मिलेगी और यह त्रिभुज का चतुर्थ कोण निकालकर ही रहेगी
NCERT से लेकर समस्त राज्यों में हिंदी के पाठ्यक्रम का यह हिस्सा रहेगा और अब सभी ख्यात आलोचकों से अनुरोध है कि इसकी समीक्षा छपने के पहले कर दें पिलीज़

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